स्वस्थ रहना है तो खुलकर हंसे

हंसी कई बीमारियों की सबसे अच्छी दवा है। खुल कर हंसने से न सिर्फ तनाव कम होता है बल्कि रोगों से लड़ने की क्षमता भी बढ़ती है। कैलिफोर्निया इरविन यूनिवर्सिटी के विशेषज्ञों के अनुसार हंसीनुमा तथा सुखद माहौल में शामिल होने से इंडोरफिन्स तथा तनावमुक्त करने वाले हाॅरमोनों का स्तर बढ़ जाता है। साथ ही तनाव पैदा करने वाले हाॅरमोन का स्तर कम हो जाता है।
संपूरक और वैकल्पिक दवा में फैमिली मेडिसीन के सहायक प्रोफेसर और शोधकर्ता ली बर्क का कहना है कि इस अध्ययन से इस बात की पुष्टि होती है कि किसी पार्टी वगैरह में शामिल होने के दिन रक्त में तनाव पैदा करने वाले हाॅरमोन में उल्लेखनीय कमी आती है तथा तनाव घटाने  वाले रसायनों में बढ़ोत्तरी होती है।
यह अध्ययन 16 व्यक्तियों पर किया गया। इन लोगों को एक हास्यपूर्ण वीडियो टेप दिखाया गया। इनमें से आधे लोगों को लगातार तीन दिन तक यह टेप दिखाया गया। इन लोगों की जांच से पाया गया कि वीडियो टेप देखने वालों के शरीर में तनाव पैदा करने वाले कार्टिसोल हाॅरमोन का स्तर 39 प्रतिशत तथा इपिनेफ्रिन का भी स्तर 70 प्रतिशत गिर गया। जबकि तनाव मुक्ति का अहसास पैदा करने वाले इंडोरफिन हाॅरमोन का स्तर 27 प्रतिशत और ग्रोथ हाॅरमोन का स्तर 87 प्रतिशत बढ़ गया। ग्रोथ हाॅरमोन प्रतिरोध प्रणाली के लिए बहुत लाभदायक है। 
बर्क के अनुसार यह अध्ययन साीमित लोगों पर ही इसलिए किया गया क्योंकि वे लोग यह निर्णय नहीं ले पाये कि लोगों के लिए हास्यपूर्ण और आनंददायक क्या हो सकता है। इसलिए इस अध्ययन में शामिल लोगों को लौरेल और हार्डी के हास्यपूर्ण वीडियो टेप दिखाये गये जो कि लोगों के लिए लाभदायक साबित हुआ।  
बर्क का कहना है कि इस अध्ययन से इस बात की पुष्टि होती है कि किसी हास्य समारोह में शाामिल होने से तनाव कम हो जाता है और यह प्रतिरोध प्रणाली को उत्तेजित करती है। 
बर्क और उनके सहयोगियों ने पाया कि हास्यपूर्ण वीडियो टेप देखने या चुटकलों को सुनकर हंसने पर तनाव और रक्त दाब में उल्लेखनीय कमी आती है। मैरीलैंड यूनिवर्सिटी के विशेषज्ञों ने भी सन् 2000 में एक अध्ययन में पाया था कि हास्य प्रवृति के लोगों में दिल को दौरा पड़ने की आशंका कम होती है।
बर्क का कहना है कि इस अध्ययन से इस बात को बल मिलता है कि अपनी जिंदगी के आधे या दो-तिहाई समय को हास्यपूर्ण माहौल में बिताने तथा किसी भी बात को हल्के ढंग से लेने पर व्यक्ति की रोग प्रतिरोधक क्षमता और आयु बढ़ जाती है।